सीएमपीडीआई ने 'क्षमता निर्माण कार्यक्रम' पर आयोजित की कार्यशाला

भारत सरकार के कोयला मंत्रालय के आधीन सीएमपीडीआई ने उत्तर पूर्वी क्षेत्र में कोयला खोज की गति को तेज करने के लिए 06.03.2023 को मेघालय के शिलांग में "क्षमता निर्माण कार्यक्रम" नामक  एक कार्यशाला आयोजित की

सीएमपीडीआई ने 'क्षमता निर्माण कार्यक्रम' पर आयोजित की कार्यशाला
सीएमपीडीआई ने 'क्षमता निर्माण कार्यक्रम' पर आयोजित की कार्यशाला

नई दिल्ली- भारत सरकार के कोयला मंत्रालय के आधीन सीएमपीडीआई ने उत्तर पूर्वी क्षेत्र में कोयला खोज की गति को तेज करने के लिए 06.03.2023 को मेघालय के शिलांग में "क्षमता निर्माण कार्यक्रम" नामक  एक कार्यशाला आयोजित की । इस कार्यक्रम के अंतर्गत, उत्पादन के लिए कोयले के संसाधन का अनुमान लगाने, खान मिलने वाले संभावित क्षेत्रों की पहचान करना और उत्तर पूर्वी क्षेत्र की ऊर्जा आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए कोयले के विनियमित उत्पादन को बढ़ावा देना था। 


उद्घाटन सत्र में, सीएमपीडीआई ने एक प्रस्तुति के माध्यम से राज्यवार कोयला धारित क्षेत्रों, खोज स्थिति, उत्तर पूर्वी क्षेत्र में खोज को बढ़ाने के लिए सीएमपीडीआई और एमओसी द्वारा किए गए प्रयासों एवं उनके द्वारा अभी तक हासिल की गई उपलब्धियों और उत्तर पूर्वी क्षेत्र में कोयला खोज के लिए लगभग उपलब्ध अनुमानित निधि से अवगत करवाया।

श्री आनंदजी प्रसाद, सलाहकार (परियोजनाएं),MOC, भारत सरकार; श्री ई. खरमाल्की, आईएएस, सचिव (खनन और भूविज्ञान), मेघालय सरकार ने सभा में  उपस्थित लोगों को संबोधित किया। श्री अर्जुन हेम्ब्रम, जीएम (खोज), सीएमपीडीआई ने मेहमानों और प्रतिनिधियों का स्वागत किया। श्री राजीव कुमार सिंह, मुख्य प्रबंधक (भूविज्ञान), सीएमपीडीआई ने उत्तर पूर्वी क्षेत्र में कोयला धारित क्षेत्र, खोज स्थिति और कोयला संसाधन के बारे में प्रस्तुति दी, और उन्होंने मॉडल टेंडर डॉक्यूमेंट के बारे में भी उपस्थिति लोगो को अवगत करवाया।

संबंधित राज्य सरकारों, भूविज्ञान और खनन निर्देशालयों ने मिलकर राज्यवार चर्चा की जिसमे  'एनईआर के कोयला क्षेत्र और कोयला संसाधन' एवं नॉर्थ ईस्ट रीजन में कोयला खोजने में होने वाली चुनौतियों' और 'कोयला संसाधन के  अनुमान' पर चर्चा किया। 
विभागीय संसाधनों या आउटसोर्सिंग के माध्यम से अन्वेषण करने के लिए एक कार्य योजना भी तैयार की गई।

इस कार्यशाला में श्री तास्सर तलार, निर्देशक, भूविज्ञान और खनन, अरुणाचल प्रदेश सरकार; श्री डेविड डी सांगमा, निर्देशक (खनिज संसाधन), मेघालय सरकार; महोदया बर्णाली नाथ, उप निर्देशक, DGM (असम); श्री अर्जुन हेम्ब्रम, जीएम (अन्वेषण), सीएमपीडीआई; श्री राजीव कुमार सिंह, मुख्य प्रबंधक (भूविज्ञान), सीएमपीडीआई; डॉ. आर. पी सिंह, वरिष्ठ प्रबंधक (भूविज्ञान), सीएमपीडीआई; श्री पंकज साहू, प्रबंधक (भूविज्ञान), सीएमपीडीआई; श्री एम भास्करन, जनरल मैनेजर (अन्वेषण), एमईसीएल; एवं नॉर्थ ईस्ट रीजन के 5 राज्य सरकारों (अरुणाचल प्रदेश, असम, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड) की तरफ से जीओ-वैज्ञानिक तथा अन्वेषण एजेंसियों और मेघालय से कोयला खनन करने वाले अन्य प्रख्यात ज्ञान-विज्ञानियों ने हिस्सा लिया ।

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